श्रीनगर, 7 मई
बुधवार को नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर पाकिस्तानी सेना द्वारा की गई अंधाधुंध मोर्टार गोलाबारी में सात नागरिक मारे गए और 38 अन्य घायल हो गए, जबकि उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने संवेदनशील क्षेत्रों से नागरिकों को निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने का आदेश दिया।
एलजी ने एक्स पर कहा, "जम्मू-कश्मीर केंद्र शासित प्रदेश के सीमावर्ती जिलों में सभी वरिष्ठ प्रशासनिक, पुलिस और जिला अधिकारियों के साथ स्थिति का जायजा लिया, जिसमें सभी सीमावर्ती जिलों के डीसी भी शामिल हैं। मैं स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहा हूं और सरकार किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार है। मैंने डीसी को संवेदनशील क्षेत्रों से ग्रामीणों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने और उनके लिए भोजन, आवास, चिकित्सा और परिवहन की व्यवस्था सुनिश्चित करने का भी निर्देश दिया है। हम हर नागरिक की सुरक्षा सुनिश्चित करेंगे।"
अधिकारियों ने बताया कि बुधवार को जम्मू-कश्मीर में नियंत्रण रेखा के पास दर्जनों अग्रिम गांवों पर पाकिस्तानी सेना ने तोपों और मोर्टार से हमला किया, जिसमें एक महिला और दो बच्चों समेत सात लोगों की मौत हो गई और 38 अन्य घायल हो गए।
उन्होंने कहा कि भारत द्वारा पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में नौ आतंकी ठिकानों पर मिसाइल हमले किए जाने के बाद पाकिस्तानी सेना द्वारा संघर्ष विराम उल्लंघन किए जाने पर भारतीय सेना भी बराबर जवाब दे रही है।
अधिकारियों ने बताया कि सभी सात मौतें सबसे अधिक प्रभावित पुंछ जिले में हुईं, जबकि 25 अन्य लोग घायल हुए हैं।
बारामूला जिले के उरी सेक्टर में दस लोग घायल हुए, जबकि राजौरी जिले में तीन अन्य घायल हुए।