नई दिल्ली, 12 अगस्त
अमेरिकी वैज्ञानिकों की एक टीम ने दिखाया है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) मरीज़ की आवाज़ की ध्वनि से स्वरयंत्र या स्वरयंत्र कैंसर का शुरुआती पता लगाने में मदद कर सकता है।
स्वरयंत्र कैंसर एक महत्वपूर्ण सार्वजनिक स्वास्थ्य समस्या है। 2021 में, दुनिया भर में स्वरयंत्र कैंसर के अनुमानित 11 लाख मामले सामने आए और लगभग 1,00,000 लोगों की इससे मृत्यु हुई।
जोखिम कारकों में धूम्रपान, शराब का दुरुपयोग और ह्यूमन पेपिलोमावायरस का संक्रमण शामिल हैं।
स्वरयंत्र कैंसर का निदान, इलाज के बाद पाँच वर्षों में 35 प्रतिशत से 78 प्रतिशत तक जीवित रहने की संभावना रखता है, जो ट्यूमर के चरण और स्वरयंत्र में उसके स्थान पर निर्भर करता है।
अब, ओरेगन हेल्थ एंड साइंस यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने दिखाया है कि एआई का उपयोग करके आवाज़ की ध्वनि से स्वर रज्जु की असामान्यताओं का पता लगाया जा सकता है।
इस तरह के 'वोकल फोल्ड घाव' सौम्य हो सकते हैं, जैसे कि नोड्यूल या पॉलीप्स, लेकिन यह स्वरयंत्र कैंसर के प्रारंभिक चरण का भी प्रतिनिधित्व कर सकते हैं।