नई दिल्ली, 13 नवंबर
गुरुवार को जारी एक रिपोर्ट में कहा गया है कि चुनिंदा मूल्य वृद्धि, मजबूत निर्यात प्राप्तियों और स्थिर इस्पात कीमतों के कारण भारत के निर्माण उपकरण क्षेत्र का राजस्व चालू वित्त वर्ष (वित्त वर्ष 26) में 6-8 प्रतिशत बढ़ने की उम्मीद है।
क्रिसिल रेटिंग्स की रिपोर्ट के अनुसार, कमजोर घरेलू मांग और उपकरणों की बढ़ती लागत के बीच मजबूत विदेशी ऑर्डर इस क्षेत्र को महत्वपूर्ण समर्थन प्रदान करते हैं।
रेटिंग एजेंसी ने कहा कि चुनिंदा मूल्य वृद्धि से उच्च अनुपालन लागत की आंशिक रूप से भरपाई हो जाएगी। साथ ही, मजबूत निर्यात प्राप्तियों और स्थिर इस्पात कीमतों से कम लागत वाले आयातों से मूल्य निर्धारण दबाव को कम करने में मदद मिलेगी।
रिपोर्ट में उल्लेख किया गया है कि इससे परिचालन मार्जिन में संकुचन पिछले वित्त वर्ष के लगभग 12 प्रतिशत से घटकर 11 प्रतिशत रह जाएगा और सभी निर्माताओं के क्रेडिट मेट्रिक्स स्थिर रहेंगे।
कंपनी ने कहा कि भारत का निर्माण उपकरण उद्योग इस वित्त वर्ष और अगले वित्त वर्ष में 2-4 प्रतिशत की मात्रा वृद्धि दर्ज करता रहेगा।